పవిత్ర ఖురాన్ యొక్క భావార్థాల అనువాదం - హిందీ అనువాదం - అల్ ఖుర్ఆన్ అల్ కరీమ్ యొక్క సంక్షిప్త తఫ్సీర్ వ్యాఖ్యానం

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44 : 25

اَمْ تَحْسَبُ اَنَّ اَكْثَرَهُمْ یَسْمَعُوْنَ اَوْ یَعْقِلُوْنَ ؕ— اِنْ هُمْ اِلَّا كَالْاَنْعَامِ بَلْ هُمْ اَضَلُّ سَبِیْلًا ۟۠

बल्कि, क्या (ऐ रसूल!) आप यह समझते हैं कि जिन लोगों को आप अल्लाह के एकेश्वरवाद और उसकी आज्ञाकारिता की ओर बुला रहे हैं, उनमें से अधिकांश लोग आपकी बात को स्वीकार करने के लिए सुनते या तर्कों और प्रमाणों को समझते हैं?! वे सुनने एवं समझने के मामले में पशुओं के समान हैं, बल्कि वे पशुओं से भी अधिक पथभ्रष्ट हैं। info
التفاسير:
ఈ పేజీలోని వచనాల ద్వారా లభించే ప్రయోజనాలు:
• انحطاط الكافر إلى مستوى دون مستوى الحيوان بسبب كفره بالله.
• काफ़िर अपने कुफ़्र (अल्लाह में अविश्वास) के कारण जानवर के स्तर से नीचे के स्तर तक गिर जाता है। info

• ظاهرة الظل آية من آيات الله الدالة على قدرته.
• 'छाया' अल्लाह की शक्ति को दर्शाने वाली निशानियों में से एक है। info

• تنويع الحجج والبراهين أسلوب تربوي ناجح.
•अलग-अलग प्रकार के तर्क एवं प्रमाण प्रस्तुत करना, एक सफल प्रशिक्षणिक पद्धति है। info

• الدعوة بالقرآن من صور الجهاد في سبيل الله.
• क़ुरआन द्वारा लोगों को अल्लाह की ओर बुलाना, अल्लाह के मार्ग में जिहाद करने का एक रूप है। info