पवित्र कुरअानको अर्थको अनुवाद - हिन्दी अनुवाद : अजिजुल हक उमरी ।

अल्-बय्यिना

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1 : 98

لَمْ یَكُنِ الَّذِیْنَ كَفَرُوْا مِنْ اَهْلِ الْكِتٰبِ وَالْمُشْرِكِیْنَ مُنْفَكِّیْنَ حَتّٰی تَاْتِیَهُمُ الْبَیِّنَةُ ۟ۙ

किताब वालों और मुश्रिकों में से जिन लोगों ने कुफ़्र किया, वे (कुफ़्र से) बाज़ आने वाले नहीं थे, यहाँ तक कि उनके पास खुला प्रमाण आ जाए। info
التفاسير: